
आस पास तड़पते लोगो को देखना और कुछ न कर पाना कितनी कोफ़्त होती है न। व्याकुलता ऐसे ही थोड़े न जन्म लेती है। कितना तड़प चुका होगा वो। रक्त का एक एक कतरा बह रहा होगा। दिल से कह ले या आँखों से। ह्रदय ग्लानि से कितना विदीर्ण हो चुका होगा। पैर भी ठहर गए होंगे। असहाय इस दुनिया में सिवाय एक निर्जीव शरीर के।
FOLLOWER
मंगलवार, 1 जून 2021
भ्रमजाल

फिल्म न्यूटन और जम्मू कश्मीर चुनाव - 6
फिल्म न्यूटन और जम्मू कश्मीर चुनाव - 5
फिल्म न्यूटन और जम्मू कश्मीर चुनाव - 4
रविवार, 30 मई 2021
फिल्म न्यूटन और जम्मू कश्मीर चुनाव - 3
गतांक से आगे...
चुनाव में जाने से पहले धर्म ग्रन्थ "गीता" ले जाने को कहा गया था। एक छोटा ट्रांजिस्टर भी। मै अपना परिवार प्रयागराज छोड़ आया था।
फिल्म न्यूटन और जम्मू कश्मीर चुनाव - 2
फिल्म न्यूटन और जम्मू कश्मीर चुनाव - 1
पढ़ने की आदत और पुस्तकालय
आज की पीढ़ी और आने वाले समय में समाज को एक भयंकर समस्या से ग्रसित होना है.. वह है "पढ़ने की आदत" की समस्या। पुस्तकालयों की मनोदशा के अंदर झाँक कर देखिये। किताबों पर पड़ती धूल। कॉलेजों में कुछ assignment ऐसे मिले जिसमें सप्ताह में एक दिन किसी पब्लिक पुस्तकालय में कम से कम 4-5 घंटे अध्ययन करे व संबंधित प्रोजेक्ट पर कुछ अंक भी निर्धारित हो। पुस्तकालय कदम रखते ही बच्चों को और भी विषय सामग्रियों से वास्ता पड़ेगा जिससे उनमें अध्ययन की आदत पड़ेगी। अध्ययन से विभिन्न विचारों को जानने समझने का मौका मिलता है व खुद के भी विचारों का जन्म होता है। ऐसे ही बड़े विचारकों का जन्म नही हुआ होगा जरूर वे महान पुस्तकालयों की शरण में गये होंगे।
मन
शनिवार, 29 मई 2021
काठ-घोड़ा नृत्य
मै बहुत छोटा था जब मैने काठ के घोड़े का नृत्य उत्तर प्रदेश के छोटे से जिले भदोही में देखा था। गजब का उत्साह था नृत्य करने वाले पुरूष का। गोल- गोल घूम कर नृत्य कर रहा था। हम लोग बहुत पीछे चले जाते थे कही घोड़ी पास न आ जाये।
चित्र: गूगल सेबचपन में चेतक घोड़े पर जो कविता सुनी थी उसकों चरितार्थ कर रहा था। हवा से बाते कर रहा था। सजीला घोड़ा था। चमकदार कपड़े पहने हुये था। उस पर बैठा हुआ व्यक्ति पगड़ी पहने किसी राजसी ठाठ वाला व्यक्ति। शादी विवाह में मुख्यतः इस प्रकार का नृत्य दिख जाता था। राजस्थान में इस नृत्य को कच्छी घोड़ी नृत्य कहा जाता है।जरूर इस प्रकार के नृत्य का कोई इतिहास रहा होगा। आधुनिकता में कही गुम हो गया ये नृत्य भी।
©️विपिन
धाकड़ पथ
धाकड़ पथ.. पता नही इस विषय में लिखना कितना उचित होगा पर सोशल मीडिया के युग में ऐसे सनसनीखेज समाचार से बच पाना मुश्किल ही होता है। किसी ने मज...
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वापसी की बेला में वों स्वयं ही रह जाता है उस अहसास के साथ जिसमें दर्द छुपा होता है बहुत सी बातों का कुछ अनकहे व बंद हो जाती है कानें खींच ...
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आज भिखारी ठाकुर जी की जयंती है। भिखारी ठाकुर भोजपुरी के बहुत ही नामचीन और बड़े गायक हैं उन्होंने परदेश पर कई गीत और गाने लिखे हैं इसमें मुझ...